उत्तराखण्ड
पूर्व प्रधान समेत आठ के खिलाफ धोखाधड़ी का मुकदमा दर्ज।
संवादसूत्र देहरादून/रुड़की: फर्जी कोटेशन के दस्तावेज तैयार कर सरकारी धन का गबन करने के आरोप में कोर्ट के आदेश पर पुलिस ने तत्कालीन ग्राम प्रधान, ग्राम सचिव समेत आठ व्यक्तियों के खिलाफ सम्बंधित धाराओं में मुकदमा दर्ज कर लिया है। शिकायतकर्ता इस मामले में लंबे समय से अधिकारियों के चक्कर काट रहा था।
रुड़की ब्लॉक के ईमलीखेड़ा निवासी घनश्याम ने अदालत के आदेश पर से दर्ज करवाए गए मुकदमे में बताया गया कि 2016 में इमली खेड़ा धर्मपुर में 315 स्ट्रीट लाइट लगनी थी। इनकी लागत 17 लाख रुपए थी। लाइट लगाने का कार्य दक्ष एसोसिएट नाम की फार्म को दिया गया। इसके लिए निविदा की प्रक्रिया भी नहीं अपनाई गई। कोटेशन में लाइट 4659 में 14.5 प्रतिशत का वैट शुल्क भी लगाया गया। शिकायतकर्ता के अनुसार उक्त लाईटें लोकल कम्पनी की थी जिनकी वारंटी 18 महीने दिखाई गयी थी। जबकि बाजार में ब्रांडेट कम्पनी की लाईट दो हजार रुपये है। जिसमें वारंटी दो वर्ष की है। वहीं गांव में 32 से 35 किलो की 65 बैंच 4,42,000 में लगाई गई जो कि खुले बाजार से लगभग दोगुने दाम पर नियम विरुद्ध तरीके से लगाई गई है। इसके साथ ही नियम विरुद्ध करीब 6 लाख रुपये में विजेंद्र पाल के मकान से मुख्य मार्ग तक सीसी टाइल्स निर्मित रास्ते का निर्माण दिखाकर सरकारी धन का दुरुपयोग किया गया। शिकायतकर्ता कहा कि स्ट्रीट लाइट के लिए जिस फर्म का इस्तेमाल किया गया उसका टिन नंबर अवैध है और फर्जी तरीके से उक्त कोटेशन तैयार कर ग्राम प्रधान व ग्राम विकास अधिकारी द्वारा अपने हस्ताक्षर किए गए। इसके अलावा उक्त कार्य में अन्य फर्मों की कोटेशन जारी की गई लेकिन वह फार्म भी अवैध रूप से संचालित है। आजाद इलेक्ट्रिक वर्क्स की कोटेशन जो कि 2016 में जारी की गई थी उसमें जीएसटी नंबर और वैट नंबर लिखा है जबकि उस समय जीएसटी पूरे भारतवर्ष में लागू नहीं था। इस मामले मामले में 26 फरवरी 2021 को उनकी ओर से जिलाधिकारी को शिकायती पत्र दिया गया था जिलाधिकारी ने शिकायत पत्र के आधार पर जिला पंचायत राज अधिकारी हरिद्वार को जांच सौंपी ।जिला पंचायत अधिकारी ने तत्कालीन ग्राम पंचायत विकास अधिकारी विकासखंड रुड़की को कारण बताओ नोटिस जारी किया। लेकिन मामले में न कोई एफआईआर की गई और न ही गबन किये गए धन की रिकवरी की गई। वादी ने मामले में 14 जनवरी 2022 को थाना अध्यक्ष कलियर को तहरीर डाक द्वारा दी गई। लेकिन उस मामले में कोई कार्रवाई नहीं हुई जिसके बाद उनके द्वारा कोर्ट की शरण ली गई। पुलिस ने कोर्ट के आदेश पर निवर्तमान ग्राम प्रधान सरिता , भूरा ठेकेदार निवासी टकाभरी थाना भगवानपुर, तत्कालीन ग्राम विकास अधिकारी संजय कुमार, दक्ष एसोसिएट दुकान नंबर दो प्रथम तल हर्षित कंपलेक्स निकट नेहरू स्टेडियम, तत्कालीन ग्राम पंचायत विकास अधिकारी कुलदीप सिंह चौहान, मैसर्स हंसवीर ठेकेदार लिब्बरहेड़ी कोतवाली मंगलौर, आजाद इलेक्ट्रिक वर्क्स के संचालक गजेंद्र सिंह निवासी ग्राम नगला चीना गुरुकुल नारसन और तत्कालीन ग्राम पंचायत विकास अधिकारी धर्मपाल सैनी के खिलाफ संबंधित धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया है।