उत्तराखण्ड
अशासकीय विद्यालयों की समस्याओं को मजबूती से उठाने के लिए गठित हुआ महासंघ।
संवादसूत्र देहरादून: प्रदेश के सहायता प्राप्त अशासकीय विद्यालयों की समस्याओं को मजबूती से उठाने के लिए विद्यालयों के प्रधानाचार्य, शिक्षक एवं शिक्षणेत्तर कर्मचारी एक मंच पर आ गए हैं। सभी ने साझा प्रयासों के लिए उत्तराखंड सहायता प्राप्त विद्यालयी महासंघ गठित किया है। सर्व सम्मति से प्रकाश चंद सुयाल को महासंघ का अध्यक्ष एवं संजय बिजल्वाण को महामंत्री चुना गया है।
गुरुवार को गांधी इंटर कालेज में अशासकीय विद्यालयों के प्रधानाचार्य, शिक्षक और शिक्षणेत्तर एसोसिएशन के पदाधिकारी जुटे। उत्तरांचल प्रधानाचार्य परिषद के प्रांतीय महामंत्री एके कौशिक ने कहा कि अशासकीय स्कूलों के साथ लगातार सौतेला व्यवहार किया जा रहा है। शिक्षक और कार्मिकों का वेतन समय पर जारी नहीं होता, न ही स्कूलों के लिए कोरोनाकाल में सैनिटाइजेशन के लिए बजट जारी हुआप्रधान अध्यापक पद पर पदोन्नति भी अटकी पड़ी हैं ।
वहीं पहले से डाउनग्रेड प्रधानाध्यापक पद पर सेवाएं दे रहे शिक्षकों तक को हटा दिया गया। गोल्डन कार्ड का लाभ भी अब तक नहीं मिला। पूरे कार्य राजकीय शिक्षकों की भांति करने के बाद भी सुविधाएं उनसे कम हैं। इन सभी मांगों को सरकार के समक्ष मजबूती से रखने के लिए महासंघ गठित किया जा रहा है।