उत्तराखण्ड
वैदिक मंत्रोच्चरण के साथ गंगोत्री व यमुनोत्री धाम के कपाट श्रद्धालुओं के लिये खुले।
संवादसूत्र उत्तरकाशी : विश्व प्रसिद्ध गंगोत्री व यमुनोत्री धाम के कपाट खुलने के साथ ही चारधाम यात्रा का विधिवत श्रीगणेश हो गया है। शुक्रवार को अक्षय तृतीय के पावन पर्व पर गंगोत्री धाम व यमुनोत्री धाम के कपाट विधिवत हवन, पूजा-अर्चना, वैदिक मंत्रोच्चरण एवं धार्मिक रीति-रिवाज साथ खोले गए। गंगोत्री के कपाट दोपहर 12.25 बजे खुले गए तथा यमुनोत्री के कपाट सुबह 10.29 बजे खोले गए। गंगोत्री धाम में करीब पांच हजार और यमुनोत्री धाम में करीब 6 हजार तीर्थ यात्रियों ने दर्शन के लिए पहुंचे।
शुक्रवार को सुबह साढ़े छह बजे गंगा की डोली भैरव घाटी स्थित भैरव मंदिर से गंगोत्री के लिए रवाना हुई। ठीक साढ़े नौ बजे डोली यात्रा गंगोत्री धाम पहुंची। तीर्थ पुरोहितों ने परंपरानुसार धार्मिक रीति-रिवाज तथा वैदिक मंत्रोच्चारण के साथ दोपहर 12.25 अमृत बेला के अभिजीत मुहूर्त पर गंगोत्री मंदिर के कपाट श्रद्धालुओं के लिए खोले। जबकि अक्षय तृतीय के पर्व पर ही मां यमुना की डोली उनके शीतकालीन प्रवास खरसाली से शनिदेव महाराज की अगुआई में सुबह साढ़े सात बजे यमुनोत्री के लिए रवाना हुई। करीब दस बजे यमुना डोली यात्रा यमुनोत्री धाम पहुंची। जहां विधिविधान से वैदिक मंत्रोच्चारण व पूजा-अर्चना के साथ 10.29 बजे यमुनोत्री धाम के कपाट श्रद्धालुओं के लिए खोल दिए गए।