उत्तराखण्ड
तीर्थ पुरोहितों हकहकूक धारी समाज व साधु संतों का प्रदर्शन संग बद्रीनाथ मंदिर में प्रवेश का प्रयास।
संवादसूत्र गोपेश्वर: तीर्थ पुरोहितों हकहकूक धारी समाज व साधु संतों की सोमवार को श्री बद्रीनाथ मंदिर में प्रवेश करने का प्रयास किया। लेकिन वे बद्रीनाथ मंदिर तक नहीं पहुंच सके, दर्शनों को जा रहे नागरिकों को अलकनंदा नदी पुल पर ही रोकने के बाद उन्हें थाने लाई ,
पुलिस ने मंदिर जाने वाले सभी मार्गों पर बेरिकेटिंग के साथ फोर्स तैनात की थी,।लेकिन भगवान के दर्शनों को लालायित स्थानीय नागरिकों ने साकेत तिराहे की बेरिकेटिंग को पार करते हुए मुख्य पुल तक पहुंच गए।
यहां पहले से मौजूद भारी पुलिस बल ने किसी को भी मंदिर की ओर नहीं बढ़ने दिया, इस दौरान पुलिस से भी नोक-झोंक होती रही।दर्शनों के लिए रोके जाने से गुस्साए लोगों ने पुल पर ही राज्य सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की।पुलिस प्रशासन द्वारा न्यायालय का हवाला देते हुए काफी समझाने का प्रयास किया , बाद में पुलिस उन्हें थाने लाई है।
पुलिस उपाधीक्षक धन सिंह तोमर ने कहा कि दर्शनों को जा रहे स्थानीय निवासियों को न्यायालय के आदेशो से अवगत कराकर वापस भेज दिया गया है । थाने में सभी से सहयोग की अपील की गई है।
प्रदर्शन करने वालों में चारधाम तीर्थ पुरोहित हकहकूक धारी महापंचायत के अध्यक्ष कृष्ण कान्त कोटियाल, विनोद डिमरी, ब्रह्मकपाल तीर्थ पुरोहित पंचायत के अध्यक्ष उमेश सती, नगर पंचायत बद्रीनाथ के पूर्व अध्यक्ष बलदेव मेहता व राजेश मेहता, माना के प्रधान पीताम्बर मोल्फा, विपुल डिमरी, जगमोहन भण्डारी ,सतीश डिमरी, तथा ब्यापार संघ बद्रीनाथ के अध्यक्ष विनोद नवनी के अलावा माना, बामणी,हनुमान चट्टी,लामबगड़ आदि गांवों के ग्रामीण मौजूद रहे।

