उत्तराखण्ड
रानीखेत से होगा कुमाऊं में सैन्य भूमि का प्रबंधन: अजय भट्ट।
संवादसूत्र देहरादून रानीखेत: केआरसी मुख्यालय स्थित छावनी क्षेत्र में रक्षा संपदा विभाग (रक्षा मंत्रालय) का उपमुख्यालय अस्तित्व में आ गया है। केंद्रीय रक्षा राज्यमंत्री अजय भट्ट व महानिदेशक रक्षा संपदा अजय कुमार शर्मा ने संयुक्त रूप से इसे कैंट के ननागरिकों को समर्पित किया। अब रानीखेत उपमुख्यालय से कुमाऊं भर में मौजूद सैन्य भूमि का प्रबंधन तथा छावनी क्षेत्र के नागरिकों से जुड़ी समस्याओं का त्वरित निदान हो सकेगा।
भारतीय सेना की कुमाऊं रेजिमेंट सेंटर मुख्यालय के डेरी फार्म भवन में केंद्रीय रक्षा राज्यमंत्री अजय भट्ट ने रक्षा संपदा उप मुख्यालय कार्यालय के रूप में विधिवत लोकार्पण किया। उन्होंने कहा कि पहली बार देशभर में मौजूद सैन्य भूमि का ड्रोन के जरिये सर्वेक्षण कराया गया है। हाइटेक प्रणाली से मानचित्र तैयार कर लिए जाने के बाद अब सैन्य व सिविल भूमि का सीमांकन जहां आसान हो जाएगा। कहा कि यह ऐतिहासिक क्षण है। भट्ट ने कहा कि रक्षा भूमि के रूप में हमारे पास बड़ा भूमि बैंक है। वर्तमान में देश भर में 17. 99 लाख एकड़़ सैन्य जमीन है। इसमें 1.61 लाख एकड़़ छावनियों के अधीन है। वहीं 16.38 लाख एकड़़ भूमि छावनियों से बाहर है। केंद्रीय रक्षा राज्यमंत्री ने कहा, रानीखेत में उपमुख्यालय खुलने के बाद कुमाऊं भर में लगभग 12626 एकड़ सैन्य भूमि का प्रबंधन रानीखेत से होगा। वहीं कुमाऊं भर में कैंट क्षेत्र के नागरिकों को छोटी बड़ी समस्याओं के लिए अब बरेली के चक्कर नहीं काटने पड़ेंगे।
महानिदेशक रक्षा संपदा अजय कुमार शर्मा ने कहा कि देहरादून में मुख्यालय के बाद रानीखेत में उपमुख्यालय स्थापित करना बड़े गौरव की बात है। कहा कि लोगों को अब बरेली के बजाय भूमि स्थानांतरण, फ्रीहोल्ड, लीज नवीनीकरण आदि की समस्याओं के निदान की सुविधा रानीखेत में ही मिलेगी। रक्षा संपदा की भूमि का सर्वे कर नक्शे बनाए जा चुके हैं। देशभर में भूमि चिह्नित कर ली गई है। उन्होंने केंद्रीय रक्षा राज्यमंत्री के प्रयासों को सराहनीय बताया। केआरसी कमांडेंट एवं छावनी परिषद अध्यक्ष ब्रिगेडियर आइएस साम्याल, विधायक डा. प्रमोद नैवाल ने भी विचार रखे।
केंद्रीय रक्षा राज्य मंत्री अजय भट्ट ने कहा कि पीएम नरेंद्र मोदी को देख नई ताकत मिलती है। पीएम ने आठ साल में देश का कायाकल्प किया है। विदेशों में भारतीयों को सम्मान मिल रहा है दुनिया की रेटिंग में पीएम को सर्वोच्च स्थान मिलना गौरव की बात है। फौज में महिला अधिकारियों का दबदबा मातृशक्ति के सशक्तीकरण को दर्शा रहा। देश की ताकत का विश्व लोहा मान रहा है।